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 डायना एडुल्जी ने सीओए से कहा कि जब विराट कोहली अपने पसंदीदा कोच चुन सकते है तो हरमनप्रीत क्यों नहीं'

डायना एडुल्जी ने सीओए से कहा कि जब विराट कोहली अपने पसंदीदा कोच चुन सकते है तो हरमनप्रीत क्यों नहीं'

By Pooja Soni - 12 Dec, 2018

बीसीसीआई की प्रशासकों की समिति की सदस्य डायना एडुल्जी का कहना है कि अगर कोच चयन में पुरूष टीम के कप्तान विराट कोहली की पसंद का ख्याल रखा जा सकता है, तो फिर सीओए प्रमुख विनोद राय को महिला T20 टीम की कप्तान हरमनप्रीत कौर की पसंद का भी ख्याल रखना चाहिए, जो कि रमेश पॉवर को ही टीम का कोच बनाये रखना चाहती हैं|

विवादों के बाद पॉवर के टीम से बाहर होने के बाद बीसीसीआई ने महिला टीम के नए कोच की नियुक्ति के लिए आवेदन मंगवाए थे| राय को लिखे पत्र में एडुल्जी ने सीओए प्रमुख राय और बीसीसीआई के सीईओ राहुल जौहरी पर आरोप लगाया हैं कि पिछले साल जुलाई में बीसीसीआई के नियमों को तोड़ते हुए रवि शास्त्री को भारतीय पुरूष टीम का कोच नियुक्त किया गया था|

पीटीआई की रिपोर्ट के अनुसार एडुल्जी ने लिखा हैं कि, ‘‘मुझे इस बात में कुछ भी गलत नज़र नहीं आता हैं कि महिला क्रिकेटर कोच के संबंध में ई-मेल लिख रही हैं| वे सच के साथ अपने विचारों को शेयर कर रहीं हैं, जबकि इसके विपरीत विराट सीईओ (जौहरी) को लगातार निजी संदेश भेजते थे, जिस पर आपने कार्रवाई भी की और कोच को बदला भी|"

उन्होंने लिखा हैं कि, ‘‘उस समय भी मैंने अपना विरोध जताया था, क्योंकि शास्त्री के लिए अंतिम तिथि को आगे बढ़ाया गया था| ऐसा इसलिए हुआ था, क्योंकि उन्होंने समय पर आवेदन नहीं किया था| अनिल कुंबले खुद एक दिग्गज खिलाड़ी हैं और उन्हें खलनायक की तरह पेश किया गया| उन्होंने विनम्रता दिखाई और खुद ही पीछे हट गए, जिसके लिए मैं उनका सम्मान करती हूँ| वहाँ भी नियमों को तोड़ा गया था और मैंने इसका विरोध भी किया था|"

एडुल्जी ने कहा हैं कि कोच के मुद्दे पर हरमनप्रीत कौर और उप-कप्तान स्मृति मंधाना की मांग पर जरूर विचार किया जाना चाहिए| उन्होंने लिखा हैं कि, "कप्तान और उपकप्तान ने अपने पसंद के कोच की मांग की है इसलिए हमें समिति (कोच चयन) पर स्थिति साफ होने तक न्यूजीलैंड दौरे के लिए उनकी मांग का सम्मान करना चाहिए| हम उन्ही के साथ दौरे पर जा सकते हैं| टीम के दो वरिष्ठ खिलाड़ियों के विचारों को नजरअंदाज नहीं करना चाहिए| उस समय भी क्रिकेट सलाहकार समिति (सीएसीए) चाहती थी कि कुंबले टीम के कोच बने रहे, लेकिन विराट ने उनकी बात नहीं सुनी| ऐसे में महिला टीम की दोनों खिलाड़ियों के विचारों को नजरअंदाज नहीं किया जाना चाहिए|"

शास्त्री ने भारतीय टीम के कोच के लिए समय पर आवेदन नहीं किया था, इसके बावजूद बीसीसीआई ने इस पूर्व भारतीय खिलाड़ी के लिए अंतिम तिथि बढ़ाई थी और अंत में उम्मीदों के मुताबिक शास्त्री टीम के कोच भी बने थे|

बीसीसीआई ने मंगलवार को महिला टीम में पॉवर का विकल्प तलाशने के लिए एड-हॉक समिति का गठन किया हैं, लेकिन एडुल्जी का कहना हैं कि राय ने ये फैसला उनसे परामर्श किए बिना ही लिया था|

एडुल्जी के अनुसार सचिन तेंदुलकर, वीवीएस लक्ष्मण और सौरव गांगुली की सीएसी को महिला टीम के कोच की तलाश के लिए ज्यादा समय दिया जाना चाहिए था| बोर्ड ने कपिल देव, अंशुमान गायकवाड़ और शांता रंगास्वामी की समिति का गठन किया है, जो महिला टीम के लिए नया कोच नियुक्त करेंगे|

भारतीय महिला टीम में ये विवाद तब सामने आया था, जब T20 विश्व कप के सेमीफाइनल मैच में मिताली राज को टीम में शामिल नहीं किया गया था और भारत ये मैच हार गया था| इस मामले पर पूर्व भारतीय कप्तान ने राय पर एकतरफा फैसले लेने का आरोप लगाया था|

उन्होंने कहा हैं कि, ‘‘मेरी गैरमौजूदगी में आप दो महिला क्रिकेटरों (हरमनप्रीत और मिताली) से मिले और जब मैंने इस बारे में पूछा तो आपने कहा कि वे आप से मुलाकात करना चाहतीं थीं| एक बार फिर आप ये समझने में नाकाम रहे हैं कि सीओए के पद पर रहते हुए बीसीसीआई में मेरी बातों का भी आपके बराबर महत्व है|"

By Pooja Soni - 12 Dec, 2018

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