बीसीसीआई को सुचना के अधिकार (RTI) के दायरे में लाने की सिफारिश

Photo Credit| IANS

विधि आयोग ने भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड (बीसीसीआई) को सरकारी संस्था मानने और इसको सुचना के अधिकार यानि (आरटीआई) के दायरे में लाने की सिफारिश की है| आपको बता दे कि बीसीसीआई अभी तक सरकारी संस्था नहीं है| 

उच्चतम न्यायालय के पूर्व न्यायाधीश बी एस चौहान की अध्यक्षता वाले 21वें विधि आयोग ने अपनी 275वीं रिपोर्ट विधि एवं न्याय मंत्री रविशंकर प्रसाद को सौंपी, जिसमें उसने कहा है कि बीसीसीआई सरकार के एक अंग के तौर पर काम करता है, इसलिए इसे आरटीआई के दायरे में लाया जाना चाहिए।

आयोग ने कहा है कि बीसीसीआई को कर की छूट और भूमि अनुदानों के तौर पर संबंधित सरकारों से अच्छा खासा वित्तीय लाभ मिलता है। इसलिए इसे सरकार के अंग के तौर पर माना जाना चाहिए। बीसीसीआई की अगर बात करे तो फ़िलहाल देश में ही नहीं वह अंतराष्ट्रीय स्तर पर भी सबसे अमीर क्रिकेट बोर्ड है| 

इस बीच, बीसीसीआई ने कहा कि विधि आयोग का निष्कर्ष केवल सिफारिशें हैं| उन्होंने कहा कि वह इस मामले में सरकार के फैसले का इंतजार करेंगे| बीसीसीआई के एक वरिष्ठ पदाधिकारी ने कहा, ‘बीसीसीआई की इस मामले में कोई भूमिका नहीं है | यह विधि आयोग की सिफारिश है और हम इस पर सरकार के फैसले का इंतजार करेंगे | जहां तक हमारी जानकारी है, विधि आयोग की सिफारिशें तब तक बाध्यकारी नहीं हैं जब तक संसद इस पर कोई फैसला न करे | इसलिए हमारे लिए यह इंतजार करो और देखो वाली स्थिति है|’

 
 

By Akshit vedyan - 19 Apr, 2018

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